प्रॉपर्टी खरीदना या लीज पर लेना: अपना व्यापार शुरू करने के लिए क्या है बेहतर?

प्रॉपर्टी खरीदना या लीज पर लेना: अपना व्यापार शुरू करने के लिए क्या है बेहतर?

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Business Planing (Pic: entrepreneur)
अगर व्यापार करना है तो अपनी प्रॉपर्टी लेकर व्यापार (Business) करना उचित रहेगा या लीज पर व्यापार शुरू करना?

यह एक ऐसा प्रश्न है जिससे कई लोग जूझते हैं।

अक्सर आपने देखा होगा कि बड़ी कमर्शियल प्रॉपर्टीज (Commercial Properties) का रेंट भारी-भरकम होता है और लोग इस खर्चे से बचने के लिए अपनी प्रॉपर्टी परचेज करना बेहतर समझ लेते हैं। वहीं दूसरी तरफ तमाम बैंक इत्यादि को देखें तो रेंट (Rent) चाहे जितना ज्यादा हो लेकिन लीज (Lease) पर ही वह अपना कारोबार करना पसंद करते हैं।

ऐसे में प्रश्न उठता है कि इन दोनों में बेहतर क्या है कमर्शियल प्रोपर्टीज़ या फिर लीज पर लेना? इस लेख में हम इन्हीं बातों पर विचार करेंगे।

सच कहा जाए तो अपने व्यापार के लिए प्रॉपर्टी लेने का विचार कोई बुरा नहीं है। अगर प्रॉपर्टी लेते हैं तो ना केवल आपके किराए की बचत होगी बल्कि लॉन्ग -टर्म  के लिए खुद आप की प्रॉपर्टी एक बढ़िया रिटर्न आफ इन्वेस्टमेंट दे सकती है। 

किराए का बोझ कुछ ऐसा होता है कि कई बड़ी कंपनियां इस के दबाव के कारण टूट जाती हैं। कई लोग अपने व्यापार के लिए ऑफिस अथवा फैक्ट्री इत्यादि अपनी ही जमीन पर बनाना पसंद करते हैं।

इसी प्रकार से देखा जाए लीज पर लेकर अपना व्यापार करने का अपना एक नजरिया है। अगर आपके पास शुरुआत में बहुत ज्यादा कैश फ्लो नहीं है और आपके पास पहले से प्रॉपर्टी नहीं पड़ी हुई है तो लीज पर लेकर अपना व्यापार करने का विकल्प आपके पास होता है।

कल्पना कीजिए कि आप के पास 5000000 या फिर एक करोड़ की पूंजी है और अगर आप वह सारी पूंजी प्रॉपर्टी लेने में ही इन्वेस्ट कर देते हैं तो कहीं ना कहीं बिजनेस की दूसरी गतिविधियों के लिए आपके पास पैसे की शॉर्टेज पड़ जाती है। ऐसी स्थिति में आप शुरुआत में लीज पर अपना काम स्टार्ट कर सकते हैं। हां, बाद के दिनों में आप दूसरे विकल्प अवश्य आजमा सकते हैं।

देखा जाए तो दोनों विकल्पों के ही अपने फायदे और नुकसान हैं और काफी कुछ यह बिजनेस के नेचर पर भी निर्भर करता है।
अगर आपको ऐसा शोरूम बनाना है जहां कस्टमर्स की फुट फॉलिंग हो तो उसके लिए आपको बेहतर लोकेशन (Location) ही चाहिए। बेहतर लोकेशंस पर प्रॉपर्टी परचेज करने के लिए आपको भारी मात्रा में पैसे इन्वेस्टमेंट करने की जरूरत होती है।

मान लें कि अगर आप बिजनेस के लिए प्रॉपर्टी ले भी लेते हैं और बाद में आपको यह अनुभव होता है कि उस लोकेशन से किसी दूसरी लोकेशन पर आप अच्छे ढंग से बिजनेस कर सकते हैं तो अगर लीज पर आपका ऑफिस है या शोरूम है, फिर उसे खाली करने में आपको दिक्कत नहीं होती है।

Work Space (Pic: .justdial)
परंतु वहीं दूसरी तरफ देखा जाए तो अगर आपके बिजनेस का नेचर ऐसा है जहां प्राइम लोकेशन बहुत ज्यादा इंपॉर्टेंट नहीं होती है तो वहां प्रॉपर्टी का रेट भी कम होता है। ऐसी स्थिति में आप वहां किराया क्यों दें? उदाहरण के तौर पर अगर शहर से बाहर कोई इंडस्ट्रियल प्लॉट (Industrial Plot) पड़ा है जिसकी प्राइस कम है और आपका बिजनेस पहले से चलता हुआ है। ऐसी स्थिति में अगर आपको एक और यूनिट डालनी है तो वहां आप अपना प्लाट लेकर फैक्ट्री (Factory) डाल सकते हैं। इसमें आपकी पूंजी की अच्छी बचत होगी।

इसी क्रम में कैश फ्लो (Cash Flow), प्रॉपर्टी की मेंटेनेंस (Property Maintenance), रीसेल वैल्यू (Property Resell Value), इत्यादि व महत्वपूर्ण कारक हैं जो अलग अलग बिजनेेेेस नेचर के हिसााब से अपनी अहमियत साबित करते हैं।

- मिथिलेश कुमार सिंह


Web Title: For Business What is Better Lease-Or Commercial Property Article In Hindi
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